वाराणसी। रविदास जयंती के अवसर पर बुधवार को नगीना से सांसद चंद्रशेखर आजाद नें सीर गोवर्धनपुर में संत शिरोमणि की जन्मस्थली पर शीश नवाया। संत रविदास के चरणों में शीश नवाकर आशीर्वाद लिया। वहीं संत श्रवण दास से मुलाकात की। उन्होंने रविदास जयंती की छुट्टी और सनातन बोर्ड को लेकर सरकार को घेरने की कोशिश की।
उन्होंने कहा कि रविदास जयंती पर अवकाश के लिए मैंने प्रधानमंत्री और मुख्यमंत्री को पत्र लिखा था। परंतु अवकाश के नाम पर लीपापोती चल रही थी। मेरे विरोध पर रविदास जयंती पर अवकाश घोषित किया गया। बैंकों में अवकाश घोषित नहीं किया गया था, आनन फानन में बैंकों में भी अवकाश घोषित किया गया। सरकार नें ऐसा कर संत रविदास के करोड़ों अनुयायियों का अपमान करने का काम किया है।
उन्होंने महाकुंभ में अव्यवस्था पर भी सरकार पर प्रहार किया। कहा कि इतना पैसा खर्च करने के बाद 300 किलोमीटर तक जाम लगेगा तो सवाल उठेगा। लोगों की समस्याओं को संसद में उठाने का काम कर रहा हूं, ताकि सरकार अपनी जिम्मेदारी अदा करे। उन्होंने कहा कि मेरे विरोध के बाद सरकार नें रविदास जयंती की छुट्टी घोषित की। मैनें रविदास जयंती के अवकाश और शोभायात्रा कीर्तन के लिए अनुमति देनें के लिए पत्र लिखा था। सरकार नें जानबूझकर परमिशन के ऑर्डर नहीं किए।
उन्होंने सनातन बोर्ड के गठन पर कहा कि पूरी सरकार सनातन के पक्ष में खड़ी है। नौजवानों, महिलाओं और गरीबों के लिए भी बोर्ड बनना चाहिए। ताकि उन्हें रोजगार, सुरक्षा और रोटी मिल सके। उन्होंने संविधान को लेकर भी बीजेपी को घेरा। कहा कि जब संविधान बना तो वर्तमान सरकार का कोई आदमी नहीं था। यह तो बाबा साहब अंबेडकर और उनके साथियों की देन है कि हर व्यक्ति को अवसर मिल रहा है।